उत्तर प्रदेश के बदायूं जिले में रामगंगा नदी का जलस्तर पिछले 24 घंटों में मामूली रूप से बढ़ा है। हालांकि यह वृद्धि केवल 0.06 सेंटीमीटर की है, दातागंज तहसील के 20 गांवों में बाढ़ की स्थिति गंभीर बनी हुई है। इस आपदा से लगभग 20,000 लोग प्रभावित हैं।
प्रमुख बिंदु:
1. रामगंगा का जलस्तर 159.950 मीटर से बढ़कर 160.010 मीटर हो गया है।
2. अकट कटकौरा, देवरनिया और सकतपुर गांव लगातार 8 दिनों से बाढ़ से घिरे हैं।
3. कई सड़कें कटी हुई हैं और आवागमन बाधित है।
4. लोक निर्माण विभाग ने तीन क्षतिग्रस्त मार्गों की पहचान की है।
गांवों की स्थिति:
अकट कटकौरा गांव चारों ओर से पानी से घिरा हुआ है। लगभग 500 निवासी आवश्यक वस्तुओं की कमी का सामना कर रहे हैं। मुख्य मार्ग का 1.5 किलोमीटर हिस्सा जलमग्न है, जिससे लोगों को नावों का उपयोग करना पड़ रहा है।
प्रशासन की प्रतिक्रिया:
दातागंज के उप जिलाधिकारी धर्मेंद्र कुमार सिंह ने अकट कटकौरा का दौरा किया और निवासियों को आश्वासन दिया कि अगले 24 घंटों में स्थिति में सुधार होने की उम्मीद है।
क्षतिग्रस्त मार्ग:
लोक निर्माण विभाग ने कई क्षतिग्रस्त मार्गों की सूची जारी की है, जिनमें ककराला-उसहैत मार्ग, अटेना पुल-प्रेमी नगला मार्ग और बिल्सी-वजीरगंज मार्ग शामिल हैं।
निष्कर्ष:
हालांकि बाढ़ का पानी धीरे-धीरे कम हो रहा है, लेकिन स्थानीय निवासियों के लिए चुनौतियां अभी भी बनी हुई हैं। महंगाई, स्कूलों का बंद होना और आवश्यक वस्तुओं की कमी प्रमुख चिंताएं हैं। प्रशासन राहत कार्यों में जुटा हुआ है और स्थिति पर नजर रखे हुए है।
इस बाढ़ ने एक बार फिर बुनियादी ढांचे की कमजोरियों और आपदा प्रबंधन की चुनौतियों को उजागर किया है। आने वाले दिनों में इन मुद्दों पर ध्यान देने की आवश्यकता है ताकि भविष्य में ऐसी स्थितियों से बेहतर ढंग से निपटा जा सके।